आम बजट और इसका इतिहास

आम बजट और इसका इतिहास

आज  की जिंदगी में जब हम बजट के बारे में सुनते हैं आमदनी और खर्चे का ख्याल आ जाता है. बजट शब्द की उत्पत्ति फ्रेंच भाषा के ‘बूजट’ से हुई बताई जाती है.  ‘बूजट’ का अर्थ होता है ‘चमड़े की थैली’ इस आप बैग समझ सकते हैं.

बजट के वर्तमान स्वरूप का यदि इतिहास में सबसे पहले उल्लेख देखा जाए तो यह सबसे पहले 1773 में मिलता है. इस समय ब्रिटिश वित्तमंत्री रॉबर्ट वालपोल ने अपने वित्तीय प्रस्ताव को चमड़े के बैग से निकाला था और तब से ‘बजट’ शब्द का प्रयोग सरकारी लेखा-जोखा के तौर पर होने लगा.

आपको बता दें, इंग्लैंड के वित्त मंत्री जिस ब्रीफकेस यानी अटैची में बजट पेश करते हैं, उसे ‘बजट बॉक्स’ कहा जाता था और आज भी कई देशों में यह परंपरा जारी है. यह लाल रंग का होता है. 1860 में इंग्लैंड के तत्कालीन वित्त मंत्री विलियम इवर्ट ग्लैडस्टोन ने इस परंपरा की शुरुआत की थी.

बता दें, ऐसा कहा जाता है, सिर्फ 2 बार छोड़कर 2010 तक इसी अटैची से बजट पेश किया गया है. यह बैग काफी पुराना हो चुका है इसलिए इसे संग्रहालय में रख दिया गया और नया ब्रीफकेस तैयार किया गया है.

भारतीय बजट का इतिहास

ईस्ट-इंडिया कंपनी से ब्रिटिश क्राउन के लिए भारतीय प्रशासन के हस्तांतरण के दो साल बाद 7 अप्रैल, 1860 को पहली बार बजट पेश किया गया था. पहले वित्त सदस्य, जिन्होंने बजट प्रस्तुत किया था, जेम्स विल्सन थे.

भारत में बजट का इतिहास आज़ादी से पहले का है. 9 अक्टूबर 1946 से 14 अगस्त 1947 तक का बजट उस समय की अंतरिम सरकार के वित्तमंत्री लियाकत अली खां ने पेश किया था. फिर जब भारत आज़ाद हुआ तब आज़ाद भारत का पहला बजट आर के शनमुखम चेट्टी ने 26 नवंबर 1947 में पेश किया था.

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज वित्त वर्ष 2021-22 का आम बजट पेश किया.बजट की क्या रुपरेखा हैं, आइये डालते है, इसपर एक नजर

 

Budget

आम बजट

स्वच्छ भारत मिशन: 2.0 के लिए 1,41,678 करोड़ आवंटित किए जाएंगे.

वायु प्रदूषण: से निपटने के लिए 2217 करोड़ का आवंटन होगा.

चुनिंदा लेदर: कस्टम ड्यूटी से बाहर रखने का प्रस्ताव है.

सस्ते मकान: के प्रोजेक्ट्स को एक साल की टैक्स छूट- सस्ते मकानों की ख़रीद के लिए 31 मार्च 2022 तक लिए जाने वाले कर्ज़ पर 1.5 लाख रुपये की अतिरिक्त कटौती होगी

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आयकर रिटर्न: 75 साल से अधिक उम्र के लोगों को आयकर रिटर्न भरने से छूट होगी.

एनआरआई: के टैक्स विवाद अब ऑनलाइन निबटाए जाएंगे.

कमिटी: छोटे करदाताओं के विवाद निपटारे के लिए कमिटी बनाई जाएगी.

मेट्रो के लिए: 11 हज़ार करोड़ का प्रावधान किया जाएगा.

रेलवे के लिए: रेल योजना 2030 तैयार. रेलवे के लिए रिकॉर्ड 1,10,055 करोड़ का प्रावधान.

डिजिटल भुगतान: को बढ़ावा देने के 1,500 करोड़ रुपये के वित्तीय प्रोत्साहन का प्रावधान

सड़क परिवहन: मंत्रालय के लिए 1,18,101 करोड़ का अतिरिक्त प्रावधान.

nirmla sitaraman.

बजट में टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं

एग्री-इंफ्रा डेवलपमेंट सेस लगेगा.
एमएसपी बढ़ाकर उत्पादन लागत का 1.5 गुना किया गया.

सोना-चांदी पर कस्टम ड्यूटी घटाकर 12.5 फ़ीसद किया गया.

कपास पर कस्टम ड्यूटी बढ़ाकर 10 फ़ीसद किया गया- विदेश से आयात किए गए कपड़े महंगे होंगे. कच्चे रेशम और रेशम सूत पर अब सीमा शुल्क (कस्टम ड्यूटी) 15 फ़ीसद किया गया.

3 वर्षों की अवधि में 7 टेक्सटाईल पार्क स्थापित किए जाएंगे.

कॉपर पर ड्यूटी घटाकर 2.5 फ़ीसद की गई. स्टील स्कू और प्लास्टिक बिल्डर वेयर पर अब 15 फ़ीसद कस्टम ड्यूटी किया गया.

स्वास्थ्य बजट को बढ़ाकर 2,23,846 करोड़ किया गया.

nirmla sitaraman

2021-22 में एक हाइड्रोजन एनर्जी मिशन शुरू करने का प्रस्ताव. इसके तहत ग्रीन पावर स्रोतों से हाइड्रोजन को पैदा किया जा सकेगा.

ग्रामीण इंफ्रास्ट्रक्चर फंड को 30,000 करोड़ से बढ़ाकर 40,000 करोड़ किया गया.

माइक्रो इरिगेशन फंड को 5,000 करोड़ से बढ़ाकर दोगुना करने का प्रस्ताव.

ऊर्जा क्षेत्र में एक फ्रेमवर्क तैयार किया जाएगा जिसमें उपभोक्ताओं को एक से ज़्यादा आपूर्तिकर्ता कंपनी में से चुनने का विकल्प दिया जाएगा.

बीमा अधिनियम 1938 में संशोधन करके बीमा कंपनियों में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश की सीमा को 49% से बढ़ाकर 74% करने का प्रावधान.

परियोजनाओं, कार्यक्रमों, विभागों के लिए प्रदान किए जाने वाले आर्थिक कार्य विभाग के बजट में 44 हज़ार करोड़ रुपये से अधिक राशि रखी गई.

केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर राज्य में एक गैस पाइप लाइन परियोजना शुरू की जाएगी. एक स्वतंत्र गैस ट्रांसपोर्ट सिस्टम ऑपरेटर का गठन किया जाएगा

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2020-21 में राजकोषीय घाटा जीडीपी का 9.5% निर्धारित किया गया है. 2021-22 में राजकोषीय घाटा जीडीपी का 6.8% होने का अनुमान है. 2025-26 तक राजकोषीय घाटा जीडीपी का 4.5% लाने का लक्ष्य है.

Akhilesh Namdeo