महंगाई भत्ता सहित 4 सूत्रीय मांग को लेकर छत्तीसगढ़ अधिकारी कर्मचारी फेडरेशन ने कलेक्टर को सौपा ज्ञापन
जिन अधिकारी कर्मचारियों ने विधानसभा चुनाव में भाजपा को जिताकर सरकार बनाई अब उसी सरकार के खिलाफ कर रहे नारेबाजी
फेडरेशन ने कहा मोदी की गारंटी लागू करो

छत्तीसगढ़ में संपन्न हुए विधानसभा चुनाव में जिन अधिकारी कर्मचारियों ने भाजपा को जिताकर सरकार बनाई अब इस भाजपा सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर रहे हैं। मोदी की गारंटी लागू करने की मांग को लेकर जिले के अधिकारी कर्मचारियों ने 23 फरवरी को छत्तीसगढ़ अधिकारी कर्मचारी फेडरेशन के आह्वाहन पर नारेबाजी करते हुए महंगाई भत्ता सहित चार सूत्रीय मांग को लेकर जिला कलेक्टर गौरेला पेंड्रा मरवाही के नाम पर ज्ञापन सौंपा।
छत्तीसगढ़ अधिकारी कर्मचारी फैडरेशन जिला गौरेला पेंड्रा मरवाही के जिला संयोजक एवं अध्यक्ष डॉ संजय शर्मा के नेतृत्व में महासचिव विश्वास गोवर्धन एवं आकाश राय एवं वरिष्ठ कर्मचारी नेता सुरेंद्र सिंह, जय भान सिंह पैकरा दिनेश राठौर डॉ एसपी सोनी सतीश ढाकोरिया अंबुज सिंह शैलेंद्र नामदेव पसहित लगभग डेढ़ सौ से अधिक अधिकारी कर्मचारी नेताओं ने फेडरेशन के प्रांतीय आह्वान पर 46% महंगाई भत्ता सहित चार सूत्रीय मांग को लेकर प्रदर्शन करते हुए जिला कलेक्टर गौरेला पेंड्रा मरवाही को ज्ञापन सोपा। कलेक्टर की अनुपस्थिति में डिप्टी कलेक्टर नीतीश वर्मा ने फेडरेशन से ज्ञापन लिया। फेडरेशन की मांग की की विधानसभा चुनाव के समय मोदी की गारंटी के तहत जो वादे कर्मचारियों से किए गए थे उसे छत्तीसगढ़ की नई सरकार लागू करें तथा जिस तरह अपने कर्मचारियों को केंद्र 46प्रतिशत महंगाई भत्ता दे रही है उसी तरह राज्य सरकार भी राज्य के सभी अधिकारी कर्मचारियों को महंगाई भत्ता प्रदान करे। दूसरी मांग यह है कि भाजपा सरकार अपने वादे के मुताबिक वर्ष 2016 से राज्य के अधिकारी कर्मचारियों को जो भी महंगाई भत्ता स्वीकृत हुआ है इसकी गणना देय तिथि से कर करके एरियर की राशि का समायोजन जीएफ में करें। फेडरेशन के पदाधिकारी ने बताया कि तीसरी मांग यह है कि राज्य के अधिकारी कर्मचारी की वेतन विसंगति सहित अन्य मुद्दों को लेकर जो पिगुआ कमेटी बनी थी उसे कमेटी की रिपोर्ट सार्वजनिक की जाए तथा चौथी मांग लिया है कि राज्य के अधिकारी कर्मचारियों को लागू सातवीं वेतनमान के एरियर की पांचवीं तथा अंतिम किस्त छत्तीसगढ़ के अधिकारी कर्मचारियों को भुगतान किया जाए। इन्हीं चार मुद्दे पर फेडरेशन के नेताओं ने बड़ी संख्या में जिला कलेक्टर गौरेला पेंड्रा मरवाही परिसर में उपस्थित होकर अपनी एकता का प्रदर्शन किया एवं ज्ञापन सौंपा।”ज्ञापन सौंपने वालों में प्रमुख रूप से कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के जिला संयोजक डॉ. संजय शर्मा, जिला महासचिव विश्वास गोवर्धन व आकाश राय, कर्मचारी अधिकारी महासंघ के जिला संयोजक सुरेंद्र सिंह, महासचिव सत्यनारायण जायसवाल, छत्तीसगढ़ राजपत्रित अधिकारी संघ जिलाध्यक्ष डॉ. एसपी सोनी, कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के मीडिया प्रभारी अक्षय नामदेव, सहायक शिक्षक फेडरेशन जिला अध्यक्ष दिनेश राठौर, महासचिव अजय चौधरी नियमित व्याख्याता संघ जिलाध्यक्ष जनभान सिंह पैकरा, न्यायिक कर्मचारी संघ जिलाध्यक्ष सतीश ठाकरिया, महासचिव अंबुज सिंह, संयुक्त शिक्षक संघ जिलाध्यक्ष तबरेज खान, ट्राईबल एजुकेशन प्रदेशाध्यक्ष प्रीतम कोशले, कर्मचारी कांग्रेस जिलाध्यक्ष प्रकाश रैदास, चतुर्थ वर्ग कर्मचारी संघ जिलाध्यक्ष मुकुंद मोगरे, डीएस कोर्चे, अरविंद उर्मलिया, ओमप्रकाश सोनवानी, संजय सोनी, महेंद्र मिश्रा, आकाश साहू, सुनील पोर्ते, तुलसीदास महिलांगे, सीएल वर्मा, थानेश्वर कश्यप, धनीराम धुर्वे, शैलेंद्र नामदेव, अभिषेक ओझा, अंजनी दुबे, मनीष त्रिपाठी, दिलीप करोसिया, लामो सिंह पैकरा इत्यादि शामिल थे।

छत्तीसगढ़ में भाजपा की सरकार बनने के बाद कर्मचारियों अधिकारियों से किए गए वादे नहीं हुए पूरे-फेडरेशन
मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपने के बाद छत्तीसगढ़ अधिकारी कर्मचारी फेडरेशन जिला गौरेला पेंड्रा मरवाही के नेताओं जिसमें संयोजक डॉ संजय शर्मा महासचिव विश्वास गोवर्धन आकाश राय एवं दिनेश राठौर ने संयुक्त रूप से पत्रकारों से बातचीत करते हुए बताया कि वर्ष 2023 में संपन्न हुए विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी ने छत्तीसगढ़ में चुनावी घोषणा पत्र में प्रदेश के कर्मचारियों के लिए बहुत से वादे किए थे परंतु छत्तीसगढ़ में भाजपा की सरकार बनने के बाद उन वादों को पूरा नहीं किया गया। जहां एक और छत्तीसगढ़ में इस समय बजट सत्र चल रहा है तथा अलग-अलग वर्गों के लिए बजट में प्रावधान रखा गया है परंतु छत्तीसगढ़ के अधिकारी कर्मचारी अपने आप को ठगे से महसूस कर रहे हैं तथा निराशा है शायद यही कारण है कि सरकार बनने के 2 महीने बाद ही छत्तीसगढ़ के अधिकारी कर्मचारियों को आंदोलन की राह पकड़ना पड़ रहा है ताकि उनकी मांगे पूरी हो सके। भारतीय जनता पार्टी ने अपने चुनावी घोषणा पत्र में जो प्रमुख वादे किए थे उनमें से प्रमुख सरकार बनने पर प्रदेश के शासकीय सेवकों एवं पेंशनरों को केंद्र के समान डीए दिया जायेगा।लंबित डीए एरियर्स की राशि को कर्मचारियों के जीपीएफ खाते में समायोजित किया जाएगा।प्रदेश के शासकीय सेवकों की गोपनीय प्रतिवेदन ऑनलाइन किया जाएगा। ताकि पदोन्नति / समयमान / क्रमोन्नति का लाभ समय पर मिल सके।अनियमित / संविदा / दैनिक वेतनभोगी / अतिथि शिक्षक इत्यादि संवर्ग के नियमितीकरण हेतु 100 दिन के अंदर कमेटी का गठन किया जाएगा।प्रदेश के सहायक शिक्षकों की बेतन विसंगति दूर की जाएगी।
प्रदेश के पंचायत सचिवों का शासकीयकरण किया जाएगा।मितानिनों को केंद्र सरकार के अंतर्गत स्थायी करने हेतु प्रयास करेंगे।
छत्तीसगढ़ में सभी तृतीय एवं चतुर्थ वर्ग के पुलिस कर्मचारियों के आवास हेतु पुलिस कल्याण कोष को सशक्त करेगी।मितानिन कर्मचारियों की मासिक मानदेय राशि में 50 प्रतिशत वृद्धि करेंगे।शिक्षा विभाग के अंतर्गत कार्यरत रसोईया एवं सफाई कर्मी के वेतन में 50 प्रतिशत की वृद्धि करेंगे। इन प्रमुख वादों को जारी करने वाले भारतीय जनता पार्टी के
विजय बघेल (सांसद), संयोजक विधानसभा चुनाव 2023 घोषणा पत्र समिति (भाजपा) थे थे परंतु छत्तीसगढ़ के अधिकारियों को सरकार को याद दिलाने ज्ञापन सौंपना पड़ रहा है मांगे पूरी नहीं होने पर आगे आंदोलन की रणनीति बनाई जाएगी।

