जिले में छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के सामूहिक हड़ताल से कलेक्ट्रेट सहित सभी सरकारी कार्यालयों का कामकाज रहा ठप्प
मोदी की गारंटी पूरी नहीं होने से नाराज कर्मचारियों अधिकारियों ने 1 दिन का सामूहिक अवकाश लेकर किया धरना प्रदर्शन एवं रैली का किया आयोजन
जिले के स्कूलों में त्रैमासिक परीक्षा हुई प्रभावित

गौरेला पेंड्रा मरवाही
लंबित महंगाई भत्ता एवं एरियर, हाउस रेंट का पुनर्निर्धारण सहित ,, की मांग पूरी किए जाने को लेकर छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के आह्वान पर गौरेला पेंड्रा मरवाही जिले के सभी अधिकारी कर्मचारी 27 सितंबर को एक दिवसीय सामूहिक अवकाश लेकर जिला मुख्यालय में धरना प्रदर्शन एवं रैली का आयोजन करते हुए छत्तीसगढ़ सरकार को जमकर कोसा। अधिकारी कर्मचारियों के एक दिवस सामूहिक अवकाश पर चले जाने से गौरेला पेंड्रा मरवाही जिले में कलेक्ट्रेट सहित सभी विभागों का कामकाज बुरी तरह प्रभावित हुआ। हालांकि कार्यालय प्रमुखों ने कार्यालय खोल रखे थे परंतु सरकारी कामकाज पूरी तरह प्रभावित रहा। खासकर शिक्षकों के हड़ताल में चले जाने से जिले के सभी शैक्षणिक संस्थाओं में त्रैमासिक परीक्षाएं प्रभावित हुई तथा परीक्षा स्थगित करनी पड़ी।छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के बैनर तले धरना प्रदर्शन में बैठे कर्मचारियों अधिकारियों ने मुख्यमंत्री के नाम एसडीएम को रैली निकाल कर ज्ञापन सौंपा।

27 सितंबर को गौरेला पेंड्रा मरवाही जिले के सरकारी अधिकारी एवं कर्मचारियों ने जिले का सरकारी कामकाज प्रभावित कर दिया तथा अपनी चट्टानी एकता प्रदर्शित करते हुए छत्तीसगढ़ सरकार को चेतावनी दी है कि यदि आज की हड़ताल के बावजूद यदि सरकार कर्मचारियों की चार सूत्रीय मांग पूरी नहीं करती तो आने वाले समय में छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन अनिश्चितकालीन हड़ताल का आयोजन करेगा। जिला मुख्यालय गौरेला पेंड्रा मरवाही स्थित धरना प्रदर्शन स्थल लाल बंगला में आयोजित एक बड़ी जनसभा को जिले के अधिकारी कर्मचारियों ने संबोधित करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार मोदी की गारंटी के तहत कर्मचारियों अधिकारियों से चुनाव के समय किए गए वादों को 9 महीने बाद भी पूरी नहीं कर पाई है जिससे छत्तीसगढ़ के अधिकारी कर्मचारियों में रोष है। खासकर महंगाई भत्ते को छत्तीसगढ़ सरकार लगातार रोक कर कर्मचारियों को प्रताड़ित कर रही है। एक परंपरा सी बन गई है कि कर्मचारियों को छत्तीसगढ़ में देर से महंगाई भत्ता दिया जाता है तथा उसका एरिया का भुगतान भी नहीं किया जा रहा है।
फेडरेशन के महासचिव विश्वास गोवर्धन ने संबोधित करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन ने अपने संयोजक कमल वर्मा के अगुवाई में पिछले महीने एक बड़ी बैठक करके महंगाई भत्ते की मांग पूरी करने को लेकर चरणबद्ध आंदोलन करने की रणनीति तैयार की थी जिसमें छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन ने लेकर रहिबो लेकर रहिबो,मोदी की गारंटी लेकर रहिबो अब नई सहिबो अब नई सहिबो मोदी की गारंटी लेकर रहिबो के नारे के साथ अगस्त क्रांति का एलान किया था तथा 6 अगस्त 24 को इंद्रावती भवन (संचालनालय) से महानदी भवन (मंत्रालय) मशाल रैली आयोजित करके सरकार को जागने का प्रयास किया था। इस मशाल रैली में कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के घटक संगठनों के प्रांताध्यक्ष एवं संभाग तथा जिला संयोजक पदाधिकारियों सहित जिम्मेदार पदाधिकारियों ने रायपुर में जाकर हिस्सा लिया था। इसके बाद द्वितीय चरण में 20 से 30 अगस्त तक सांसदों एवं विधायकों को ज्ञापन सौंप कर छत्तीसगढ़ सरकार के नुमाइंदों को एक बार पुनः ध्यान आकर्षित कराया था परंतु इसके बावजूद भी छत्तीसगढ़ सरकार के नुमाइंदों के कानों में जूं नहीं रेंगी।

इसके बाद छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन अपने तृतीय चरण के आंदोलन में 11 सितंबर को जिला,ब्लॉक,तहसीलों में मशाल रैली का आयोजन आयोजन किया गया । इसके बावजूद भी सरकार के कानों में जू नहीं रहेगी जिसके कारण एक आज 27 सितंबर को पूरे प्रदेश भर के कर्मचारी अधिकारी सामूहिक हड़ताल करके सरकार को जगाने का प्रयत्न कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि इसे दिवस सामूहिक अवकाश धर्म को रौशन के बावजूद यदि सरकार ने अधिकारी कर्मचारियों की मांग को पूरी करने में रुचि नहीं दिखाई तो आगे अनिश्चितकालीन आंदोलन पर विचार किया जाएगा। धरना प्रदर्शन में फेडरेशन से संबंध 112 कर्मचारी संगठनों के पदाधिकारी एवं सदस्य उपस्थित रहकर हड़ताल का समर्थन किया एवं अपने अलग-अलग उद्बोधन में सरकार को जमकर कोसा। विशेष कर महिला कर्मचारी नेता मोनिका जैन, सविता यादव, कुंज बिहारी दीक्षित, फेडरेशन के संयोजक डॉक्टर संजय शर्मा , प्रवीण श्रीवास,सुनील सोनी, ओम प्रकाश सोनवानी, हेमंत कश्यप गीतेश्वर राठौर सहायक शिक्षक फेडरेशन के जिला अध्यक्ष दिनेश राठौर, अभिषेक शर्मा एमपी रौतेला राम प्रमोद तिवारी छोटू लाल रात्रे प्रीतम कोसले, धर्मेंद्र केवट, गजेंद्र रात्रे,पीयूष गुप्ता, जनभान सिह पैकरा, अक्षय नामदेव मैं अपने उद्बोधन में सरकार को जमकर ललकारा। कार्यक्रम का संचालन अजय चौधरी ने किया तथा आभार प्रदर्शन विशाल सिंह ठाकुर मुन्ना ने किया।

कलेक्ट्रेट के कर्मचारी रहे हड़ताल पर
यह पहली बार हुआ जब गौरेला पेंड्रा मरवाही जिले के कलेक्टर कार्यालय में पदस्थ कर्मचारी सामूहिक अवकाश का आवेदन देकर हड़ताल पर रहे। कलेक्ट्रेट के कर्मचारी सामूहिक अवकाश लेकर धरना प्रदर्शन स्थल पर भी पहुंचे एवं फेडरेशन की मांगों का समर्थन किया। हालांकि स्वयं जिला कलेक्टर लीना कमलेश मंडावी पूरे दिन भर कलेक्ट्रेट में बैठकर फाइलें निपटाती रही। कलेक्ट्रेट में आवक जावक लिपिक भी हड़ताल पर रहे जिससे आम लोगों का कामकाज नहीं हुआ। कुछ लघु वेतन कर्मचारी अवश्य अवकाश में रहने के बावजूद भी कलेक्ट्रेट को खोलने एवं बंद करने में सहयोग दिया।
त्रैमासिक परीक्षा हुई प्रभावित
आज की सामूहिक हड़ताल से जिले के अधिकांश संस्थानों में त्रैमासिक परीक्षा प्रभावित हुई। फेडरेशन की हड़ताल में शिक्षकों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया जिसे कई स्कूलों में परीक्षा संपन्न नहीं कराई जा सकी।
एसडीएम को सौंपा ज्ञापन
छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के बैनर तले आयोजित सामूहिक अवकाश धरना प्रदर्शन के बाद अधिकारी कर्मचारियों ने रैली निकालकर एसडीएम को मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा।

ये है फेडरेशन की प्रमुख मांगे
र्विधानसभा चुनाव के समय भाजपा घोषणा पत्र अनुसार प्रदेश के कर्मचारियों को केंद्र के समान 1 जनवरी 24 से महंगाई भत्ता में 4 % वृद्धि कर साथ 50 % डी ए स्वीकृत करने; प्रदेश के कर्मचारियों को जुलाई 2019 से देय तिथि पर महंगाई भत्तों के एरियर्स राशि का समायोजन जीपीएफ खाते में जमा किये जाने;भाजपा घोषणा पत्र अनुसार प्रदेश के शासकीय सेवकों को चार स्तरीय समयमान वेतनमान दिये जाने;केन्द्र के समान गृह भाड़ा भत्ता;भाजपा घोषणा पत्र अनुसार मध्यप्रदेश सरकार की भांति प्रदेश के शासकीय सेवकों को अर्जित अवकाश नगदीकरण 240 दिन के स्थान पर 300 दिन देने के मुद्दा शामिल है। धरना प्रदर्शन के दौरान स्वास्थ्य कर्मचारी संघ के ब्लॉक अध्यक्ष छोटू लाल रात्रि ने प्रखर वक्ताओं को गमछा डायरी पेन इत्यादि देकर सम्मानित किया तथा स्वयं सभी आंदोलनकारी के लिए चाय पानी की व्यवस्था की।


