भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही प्रक्रियाधीन, अधिग्रहण की कार्यवाही पूर्ण होने के बाद होगा अरपा उद्गम पेंड्रा का संरक्षण – कलेक्टर लीना कमलेश मंडावी

अरपा नदी पेंड्रा के उद्गम सहित जिले की सभी नदियों के संरक्षण हेतु कलेक्टर को सौंपा गया ज्ञापन


अरपा उद्गम पेंड्रा की भूमि अधिग्रहण और उद्गम स्थल को संरक्षित करने की मांग


गौरेला पेंड्रा मरवाही जिले में है सोन, अरपा ,तान ,तिपान बम्हनी जोहिला मलनिया ऐलान जावस नदी का उद्गम स्थल

गौरेला पेंड्रा मरवाही

गौरेला पेंड्रा मरवाही की जिले की कलेक्टर श्रीमती लीना कमलेश मंडावी ने  कहा है कि अरपा उद्गम पेंड्रा की भूमि के अधिग्रहण की कार्यवाही निर्धारित नियमों का पालन करते हुए प्रक्रियाधीन है। अधिग्रहण की कार्यवाही समय सीमा के भीतर पूर्ण होने के बाद अरपा उद्गम पेंड्रा के संरक्षण एवं संवर्धन कार्य योजना के अनुसार  किया जाएगा।
उक्त बातें उन्होंने अरपा नदी पेंड्रा के उद्गम स्थल के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए मिलने गए प्रतिनिधिमंडल को कही।


छत्तीसगढ़ की प्रमुख जीवनदायिनी नदी अरपा और गौरेला पेंड्रा मरवाही जिले से निकलने वाली नदियों के उद्गम स्थलों के संरक्षण को लेकर अरपा उद्गम बचाओ संघर्ष समिति पेण्ड्रा एवं अरपा बचाओ अभियान, बिलासपुर के संयोजकों के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल में 23 मई 2025 को गौरेला पेंड्रा मरवाही जिले की कलेक्टर श्रीमती लीना कमलेश मण्डावी को ज्ञापन सौंपा है जिसमें अरपा नदी के उद्गम स्थल अमरपुर (पेण्ड्रा) क्षेत्र में भूमि अधिग्रहण कर संरक्षण किया जाने, तथा वहाँ पर कुण्ड व बांध का निर्माण किये जाने की मांग की।

प्रतिनिधि मंडल ने कलेक्टर से गौरेला-पेण्ड्रा-मरवाही जिले से निकलने वाली सभी नदियों के उद्गम स्थलों को राजस्व रिकॉर्ड में चिन्हित किये जाने तथा  उन्हें अतिक्रमण  से मुक्त कर संरक्षित करने की मांग रखी और ज्ञापन सौपा।
ज्ञापन में बताया गया कि अरपा नदी के उद्गम स्थल पर निरंतर अतिक्रमण हो रहा है। निजी भूमि स्वामियों द्वारा नदी के स्रोत क्षेत्र की जमीन का डायवर्सन कर प्लाटिंग कर दी गई है, जिससे जलधारा पूरी तरह बाधित हो चुकी है।

बहाव क्षेत्र में भी अवैध अतिक्रमण कर धारा के प्राकृतिक प्रवाह को रोका जा रहा है।
संघर्ष समिति ने यह भी उल्लेख किया कि पहले अरपा रिवाइवल कमेटी की बैठक में उद्गम स्थल के संरक्षण को लेकर महत्त्वपूर्ण निर्णय लिए गए थे और उच्च न्यायालय में दायर जनहित याचिका पर प्रशासन ने समयसीमा में कार्रवाई का आश्वासन दिया था, परंतु अब तक धरातल पर कोई ठोस कार्यवाही नहीं हुई है।
ज्ञापन में इस बात पर भी चिंता जताई गई कि अरपा के साथ-साथ सोन, तान, तिपान, बम्हनी, जोहिला, मलनिया, एलान, और जावस जैसी कई पवित्र नदियों का उद्गम इसी जिले से होता है, लेकिन ये सभी उद्गम स्थल उपेक्षा का शिकार हैं। इन स्थलों को संरक्षित कर राजस्व रिकॉर्ड में दर्ज किया जाना आवश्यक है।


अरपा बचाओ अभियान बिलासपुर के संयोजक दो सोमनाथ यादव ने ने कलेक्टर से निवेदन किया कि वे शीघ्र ठोस कदम उठाते हुए इन महत्वपूर्ण जलस्रोतों को संरक्षण प्रदान करें…


वहीं जिला कलेक्टर ने पूरे मामले में कहां है कि हाई कोर्ट के निर्देश के बाद प्रशासन ने भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही शुरू कर दी है अधिग्रहण की कार्यवाही होते ही अग्रिम कार्यवाही की जाएगी।

कलेक्टर से मिलने गए प्रतिनिधि मंडल में डा सोमनाथ यादव संयोजक अरपा बचाओ अभियान बिलासपुर, महेश श्रीवास, डा सुधाकर बिबे, राजेंद्र मौर्य, देवानंद दुबे, यश मिश्रा,अनूप श्रीवास , अक्षय नामदेव संयोजक अरपा उद्गम बचाओ संघर्ष समिति पेंड्रा रामनिवास तिवारी दुर्गा प्रसाद अग्रवाल एवं जिले के नदी प्रेमी उपस्थित थे।

Akhilesh Namdeo

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